भोपाल। मुंबई आतंकी हमले में शहीद पुलिस अधिकारी हेमंत करकरे के संबंध में साध्वी प्रज्ञा के विवादास्पद बयान से करकरे की छोटी बहन व परिजन आहत और दुखी हैं।
भोपाल लोकसभा सीट से भाजपा प्रत्याशी साध्वी प्रज्ञा ने शुक्रवार को अपनी प्रताड़ना की कहानी सुनाते हुए कह दिया था कि ‘मैंने करकरे को श्राप दिया था कि तेरा सर्वनाश हो जाएगा।
ठीक सवा महीने बाद उसे आतंकियों ने मार दिया।” साध्वी के इस बयान से देश की सियासत एकाएक गर्मा गई है।
भोपाल निवासी शहीद करकरे की इकलौती छोटी बहन नेहा और अन्य परिजनों ने जब देशभर के न्यूज चैनलों पर साध्वी प्रज्ञा को शहीद करकरे के संबंध में ऐसी बातें करते सुना तो उन्हें बेहद दुख पहुंचा। उनके घाव फिर हरे हो गए और घर का माहौल एकाएक गमगीन हो गया।
इस बीच बड़ी संख्या में मीडिया के लोग नेहा के घर जा पहुंचे, इस मुद्दे पर उनकी अथवा परिजनों की प्रतिक्रिया मांगते रहे। लेकिन नेहा, उनके पति जयंत हर्षे और अन्य परिजनों ने सभी पत्रकारों को हाथ जोड़ कर यही कहकर विदा किया कि ‘कृपया हम लोगों को और दुखी न करें, शहीद भाई के बारे में किसने क्या कहा हमें उस पर कुछ भी नहीं बोलना।”
सवा महीने बाद ही आतंकियों ने मार दिया
भोपाल लोकसभा सीट से भाजपा प्रत्याशी घोषित साध्वी प्रज्ञा ने यह बयान दिया था कि उन्हें करकरे ने बिना सुबूत के गिरफ्तार किया और प्रताड़ित किया।
इस मामले में जब जांच आयोग के सदस्य ने करकरे से कहा कि साध्वी के खिलाफ जब सुबूत नहीं हैं तो उन्हें छोड़ दो तो करकरे बोले कि मैं कुछ भी करूंगा लेकिन सुबूत जुटाउंगा, इधर-उधर से लाउंगा लेकिन इसे नहीं छोडूंगा, साध्वी ने कहा कि यह उसकी कुटिलता, देशद्रोह और धर्मविरुद्ध भी था। साध्वी ने बताया कि इसके बाद मैंने उससे कहा कि ‘तेरा सर्वनाश होगा और ठीक सवा महीने बाद उसे आतंकियों ने मार दिया।
बिखर गया करकरे का परिवार
दस साल पहले 26 नवंबर 2018 को मुंबई पर हुए आतंकी हमले (26/11) के दौरान तत्कालीन मुंबई एटीएस चीफ हेमंत करकरे के अलावा, एसीपी अशोक कामटे, एनकाउंटर विशेषज्ञ विजय सालस्कर सहित 17 पुलिसकर्मी शहीद हुए थे।
उस दिन आतंकियों की गोलीबारी में कुल 166 लोग मारे गए थे। उल्लेखनीय है कि इस घटना के बाद करकरे का पूरा परिवार ही उजड़ गया, करीब ढाई साल पहले उनकी पत्नी कविता करकरे की ब्रेन हेमरेज के चलते मृत्यु हो गई। उनके बच्चे भी अपना घर छोड़कर चाचा के यहां रहने चले गए।