भोपाल। मतदाता सूची, मतदान केंद्र से लेकर लोकसभा चुनाव की सभी तैयारियां मध्य प्रदेश में पूरी हो गई हैं। सरकार ने तीन साल से एक स्थान पर जमे अधिकारियों को हटाए जाने का प्रमाण-पत्र चुनाव आयोग को भेज दिया है।
वहीं, मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी वीएल कांताराव ने मंगलवार को चुनावी तैयारियों पर चर्चा के लिए कलेक्टरों की वीडियो कॉन्फ्रेंस बुलाई है। उधर, पांच मार्च को कमलनाथ कैबिनेट की बैठक भी होगी। माना जा रहा है कि लोकसभा चुनाव की आचार संहिता लागू होने से पहले यह अंतिम कैबिनेट बैठक होगी। इसमें आबकारी नीति के अलावा कर्मचारियों से जुड़े मुद्दे पर निर्णय लिए जा सकते हैं।
सूत्रों के मुताबिक, अगले सप्ताह कभी भी लोकसभा चुनाव की तारीखों की घोषणा हो सकती है। 2014 में छह मार्च को चुनाव की घोषणा हुई थी और तीन दिन पहले ही मुख्य निर्वाचन आयुक्त सुनील अरोड़ा ने साफ किया है कि लोकसभा चुनाव समय पर ही होंगे।
इससे संभावना जताई जा रही है कि अगले सप्ताह कभी भी चुनाव की तारीखों का एलान हो सकता है। प्रदेश में जिस तरह से सरकार ने पिछले सप्ताहभर में ताबड़तोड़ तबादले किए हैं, उससे इसका भी अंदाजा लगाया जा रहा है। हालांकि बताया जा रहा है कि सरकार ने अपने हिसाब से मैदानी जमावट का काम पूरा कर लिया है।
मप्र सरकार ने चुनाव आयोग को भेजा तबादलों को लेकर प्रमाण-पत्र। आचार संहिता से पहले पांच मार्च को होगी कमलनाथ कैबिनेट।
भोपाल। मतदाता सूची, मतदान केंद्र से लेकर लोकसभा चुनाव की सभी तैयारियां मध्य प्रदेश में पूरी हो गई हैं। सरकार ने तीन साल से एक स्थान पर जमे अधिकारियों को हटाए जाने का प्रमाण-पत्र चुनाव आयोग को भेज दिया है।
वहीं, मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी वीएल कांताराव ने मंगलवार को चुनावी तैयारियों पर चर्चा के लिए कलेक्टरों की वीडियो कॉन्फ्रेंस बुलाई है। उधर, पांच मार्च को कमलनाथ कैबिनेट की बैठक भी होगी। माना जा रहा है कि लोकसभा चुनाव की आचार संहिता लागू होने से पहले यह अंतिम कैबिनेट बैठक होगी। इसमें आबकारी नीति के अलावा कर्मचारियों से जुड़े मुद्दे पर निर्णय लिए जा सकते हैं।
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सूत्रों के मुताबिक, अगले सप्ताह कभी भी लोकसभा चुनाव की तारीखों की घोषणा हो सकती है। 2014 में छह मार्च को चुनाव की घोषणा हुई थी और तीन दिन पहले ही मुख्य निर्वाचन आयुक्त सुनील अरोड़ा ने साफ किया है कि लोकसभा चुनाव समय पर ही होंगे।
इससे संभावना जताई जा रही है कि अगले सप्ताह कभी भी चुनाव की तारीखों का एलान हो सकता है। प्रदेश में जिस तरह से सरकार ने पिछले सप्ताहभर में ताबड़तोड़ तबादले किए हैं, उससे इसका भी अंदाजा लगाया जा रहा है। हालांकि बताया जा रहा है कि सरकार ने अपने हिसाब से मैदानी जमावट का काम पूरा कर लिया है।
मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी कार्यालय के माध्यम से सरकार ने चुनाव आयोग को गृह, सामान्य प्रशासन और राजस्व विभाग के मैदानी अधिकारियों की पदस्थापना संबंधी प्रमाण-पत्र भी भेज दिया है।
इसमें साफ किया गया है कि ऐसा कोई भी अधिकारी मैदानी पदस्थापना में नहीं है, जिसे एक स्थान पर पदस्थ रहते हुए तीन साल से ज्यादा वक्त हो चुका है।
वहीं, सरकार में भी अगले सप्ताह आचार संहिता लागू होने को लेकर सुगबुगाहट है। इसके मद्देनजर ही पांच मार्च को कमलनाथ कैबिनेट की बुलाई गई है। इसमें आबकारी नीति के अलावा कर्मचारियों से जुड़े कुछ वचनों पर निर्णय लिया जा सकता है।